-
- छात्रों को सैमसंग के प्रमुख सीएसआर प्रोग्राम के माध्यम से एआई, आईओटी, बिग डेटा और कोडिंग में विशेषज्ञता हासिल करने का अवसर मिला
- हर क्षेत्र के टॉपर्स को प्रोग्राम खत्म होने के बाद सैमसंग के उत्पादों के साथ ही 1 लाख रुपये का नकद पुरस्कार दिया जायेगा
गुरुग्राम 18 अक्टूबर 2024: सैमसंग इंडिया के प्रमुख सीएसआर प्रोग्राम, सैमसंग इनोवेशन कैंपस ने गौतम बुद्ध यूनिवर्सिटी, ग्रेटर नोएडा के 400 छात्रों के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) पाठ्यक्रम का सफल समापन किया। यह कार्यक्रम युवाओं के कौशल विकास में योगदान देकर #DigitalIndia अभियान को मजबूत बनाने के सैमसंग के संकल्प को दोहराता है।
समापन समारोह में गौतम बुद्ध यूनिवर्सिटी के कुलपति प्रो. आर.के. सिन्हा, सैमसंग के अधिकारी और इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर स्किल्स काउंसिल ऑफ इंडिया (ईएसएससीआई) के प्रतिनिधि मौजूद रहे।
इस एक-वर्षीय प्रोग्राम के टॉपर्स को 1 लाख रुपये का नकद पुरस्कार और दिल्ली/एनसीआर में सैमसंग के केंद्रों को देखने का अवसर मिलेगा, जहां वे सैमसंग की लीडरशिप टीम से मार्गदर्शन प्राप्त करेंगे। इसके अलावा, राष्ट्रीय स्तर पर टॉप करने वाले छात्रों को सैमसंग के आकर्षक प्रोडक्ट्स भी पुरस्कार स्वरूप दिए जाएंगे।
सैमसंग साउथवेस्ट एशिया के कॉर्पोरेट वाइस प्रेसिडेंट एसपी चुन ने कहा, “एआई, आईओटी, बिग डेटा और कोडिंग जैसे फ्यूचर-टेक स्किल्स में युवाओं को शिक्षा देना सैमसंग की एक बड़ी योजना का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य देश के विकास में योगदान देना और डिजिटल इंडिया पहल को आगे बढ़ाना है। सैमसंग इनोवेशन कैम्पस के दूसरे सत्र के तहत, सैमसंग के प्रमुख सीएसआर कार्यक्रम ने इस दिशा में एक कदम और बढ़ाया है, जिससे देशभर के युवाओं को महत्वपूर्ण ज्ञान और प्रशिक्षण देकर उनकी नौकरी करने की क्षमता बढ़ाई जा सके।”
सैमसंग इनोवेशन कैंपस चार प्रमुख तकनीकी क्षेत्रों – एआई, आईओटी, बिग डेटा, और कोडिंग एवं प्रोग्रामिंग में व्यापक प्रशिक्षण देता है। इस कार्यक्रम के जरिए छात्र अपनी नौकरी की योग्यता को बेहतर करने के लिए कैपस्टोन प्रोजेक्ट्स और सॉफ्ट स्किल्स ट्रेनिंग के माध्यम से व्यावहारिक अनुभव हासिल कर सकते हैं। एआई पाठ्यक्रम के प्रतिभागियों को 270 घंटे की थ्योरी और 80 घंटे के प्रोजेक्ट वर्क से गुजरना होता है, जबकि आईओटी और बिग डेटा के छात्रों को 160 घंटे की थ्योरी और 80 घंटे का प्रोजेक्ट वर्क करना होता है। कोडिंग और प्रोग्रामिंग में भाग लेने वाले छात्रों को 80 घंटे की ट्रेनिंग के बाद हैकथॉन में भाग लेना होता है। इस प्रोग्राम के अंतर्गत सैमसंग देश भर के 3,500 विद्यार्थियों को प्रशिक्षित करेगा।
इस कार्यक्रम में चार राज्यों के आठ शैक्षणिक संस्थान शामिल हैं। उत्तर क्षेत्र में, दिल्ली एनसीआर के दो केंद्रों के अलावा लखनऊ और गोरखपुर में भी ट्रेनिंग सेंटर बनाए गए हैं। दक्षिण में, बेंगलुरु के दो केंद्रों के साथ तमिलनाडु और कर्नाटक में भी ट्रेनिंग सेंटर हैं, जोकि चेन्नई और श्रीपेरूम्बुदूर में स्थित हैं।
इस प्रोग्राम के दौरान, प्रतिभागियों को देशभर में ईएसएससीआई के मान्यता प्राप्त प्रशिक्षण और शिक्षा भागीदारों के माध्यम से शिक्षकों द्वारा संचालित क्लासरूम और ऑनलाइन प्रशिक्षण मिलता रहेगा। इस कार्यक्रम में शामिल युवा आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (AI), इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IoT), बिग डेटा और कोडिंग एवं प्रोग्रामिंग जैसे चुने हुए तकनीकी क्षेत्रों में क्लासरूम और ऑनलाइन प्रशिक्षण के साथ-साथ व्यावहारिक कैपस्टोन प्रोजेक्ट का काम भी पूरा करेंगे।
उन्हें नौकरी करने योग्य बनाने के लिए सॉफ्ट स्किल्स का प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। प्रतिभागियों को देश भर में ईएसएससीआई के प्रशिक्षण और शिक्षा भागीदारों के माध्यम से एकत्रित किया जा रहा है। ट्रेनिंग का तरीका ऑफलाइन और ऑनलाइन लर्निंग का मिला-जुला रूप होगा, जिसमें शानदार हैकथॉन और कैपस्टोन प्रोजेक्ट्स शामिल हैं। इसके साथ, सैमसंग के कर्मचारियों द्वारा विशेष मेंटरशिप भी दी जाएगी।
वर्ष 2023 में, सैमसंग इनोवेशन कैंपस ने 3000 छात्रों को इन आधुनिक टेक्नोलॉजी कोर्सेस में सफलतापूर्वक प्रशिक्षित किया। यह पहल सैमसंग की भारत में कॉर्पोरेट सामाजिक जिम्मेदारी (सीएसआर) के तहत राष्ट्र निर्माण के प्रति उसकी प्रतिबद्धता को दर्शाती है। सैमसंग की दूसरी सीएसआर पहलों, जैसे “सॉल्व फॉर टुमॉरो,” के साथ मिलकर, यह कार्यक्रम भारत के भावी लीडर्स को जरूरी शिक्षा और स्किल्स देकर उन्हें सशक्त बनाने का काम करता है, ताकि वह सार्थक बदलाव लाने में सक्षम हो सकें।