वैश्विक स्तर पर नवरात्रि अन्य विदेशी बैन्ड को टक्कर दे रहा है, बिजनेस भी भारत के मुकाबले 10 गुना बढ़ा
मुंबई 01 सितंबर 2024:अगर आप किसी छोटे से पाँच साल के बच्चे से लेकर सत्तर-अस्सी साल के बुजुर्ग से पूछें कि नवरात्रि कितने दिन मनाई जाती है, तो सबका जवाब होगा नौ दिन। लेकिन असलियत इससे अलग है। आज की तारीख में दुनिया का सबसे लंबा डांस फेस्टिवल केवल नौ दिन नहीं, बल्कि पूरे पाँच महीने तक मनाया जाता है। यह सुनने में अजीब जरूर लगता है, लेकिन यह हकीकत है। आइए हम आपको बताते हैं कि यह नौ दिनों का त्योहार कैसे पाँच महीने तक मनाया जा रहा है।
अर्देशर फरामजी खबरदार की गुजराती भाषा में कविता है कि ‘जहां कहीं भी एक गुजराती रहता है, वहाँ गुजरात बस जाता है।‘ मतलब ये है कि जहाँ भी गुजराती रहते हैं, वहाँ नवरात्रि जरूर मनाई जाती है। गुजरात के कलाकार और नवरात्रि आयोजक नवरात्रि को वैश्विक रूप दे रहे हैं। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि भारत में नवरात्रि का जितना बडा बिजनेस मार्केट है, उससे दस गुना बडा मार्केट अब विदेशों में है। यानी भारत में जितना कारोबार नवरात्रि के दौरान होता है, उससे दस गुना ज्यादा व्यापार विदेशों में होता है। इसका कारण यह है कि विदेशों में बसे गुजराती लगातार नौ दिन तक नवरात्रि नहीं मना सकते। इसलिए वे जून से अक्टूबर के बीच हर शनिवार-रविवार को गरबा का आयोजन करते हैं। जब भारत में मानसून की शुरुआत होती है, यानी जुलाई-अगस्त में, भारतीय कलाकार विदेशों में रवाना हो जाते हैं। इन कलाकारों के पसंदीदा शहरों में दुबई, बहरीन, कुवैत, कतर, ऑस्ट्रेलिया, यूरोप में ब्रिटेन, फ्रांस, पोलैंड, अफ्रीका में तंजानिया, दक्षिण अफ्रीका, अमेरिका और कनाडा शामिल हैं। इस सीज़न के दौरान ज्यादातर कलाकार सोशल मीडिया पर पोस्ट डालते हैं कि वे मेलबर्न, सिडनी, या लंदन में हैं और शो में उपस्थिति के लिए स्नेहपूर्वक आमंत्रित करते हैं। वास्तव में, ये कलाकार विदेशों में जाकर 4-5 महीनों तक वहां बसे गुजराती समुदाय को गरबा खिलाते हैं।
वीकेंड के सभी शो हाउसफुल
विदेशों में जब से नवरात्रि का आयोजन शुरू हुआ है, तब से माता रानी का यह त्योहार दुनिया का सबसे लंबा त्योहार बन गया है और इसने एक वैश्विक उत्सव का रूप धारण कर लिया है। दिलचस्प बात यह है कि विदेशों में सिर्फ गुजराती ही नहीं, बल्कि वहां के गैर गुजराती नागरिक भी बड़े उत्साह के साथ गरबा खेलते हुए नजर आते हैं।
विदेश में नवरात्रि का आयोजन करने वाली कंपनियों और आयोजकों में सबसे अग्रणी है यश एंटरटेनमेंट। और जब बात आती है गायकों की, तो गरबा प्रिंसेस ऐश्वर्या मजूमदार का नाम सबसे ऊपर होता है। इस साल ऐश्वर्या मजूमदार यश एंटरटेनमेंट के बैनर तले विदेश में लगभग चालीस शो करने वाली हैं। सिर्फ ऐश्वर्या मजूमदार ही नहीं, बल्कि आधा दर्जन से ज्यादा कलाकार भी विदेश जाकर नवरात्रि का आयोजन कर रहे हैं।
ग्लोबल नवरात्रि के कारोबार के बारे में अधिक जानकारी देते हुए यश एंटरटेनमेंट के मितुलभाई शाह ने बताया कि कोविड महामारी के बाद हमने वैश्विक स्तर पर नवरात्रि का आयोजन शुरू किया। हमारे लिए यह सिर्फ एक व्यवसाय नहीं है, बल्कि गुजरात की अस्मिता को दुनिया भर में पहुंचाने का हमारा एक विनम्र प्रयास भी है। आर्थिक पहलुओं के साथ ही, हमें इस बात की खुशी है कि दुनिया भर में बसे गुजराती नवरात्रि महोत्सव का बाहें फैलाकर स्वागत कर रहे हैं। यही कारण है कि दुनिया के कई देशों से शो के आयोजन के लिए कई संस्थाएं यश एंटरटेनमेंट से संपर्क कर रही हैं। एक साल में 5-7 शो से शुरुआत करने के बाद, अब शो की संख्या लगातार बढ रही है, इस साल हम पाँच महीनों में 40 से अधिक नवरात्रि शो कर रहे हैं। हमारे साथ विदेशों में बसे गुजराती और खासकर युवा भी जुड़ रहे हैं।
विदेशों में आयोजित शोज के बारे में जानकारी देते हुए गरबा प्रिंसेस ऐश्वर्या मजूमदार ने कहा कि विश्व के विभिन्न देशों में बसे माता रानी के भक्तों के साथ नवरात्रि मनाने का अनुभव ही अलग है। विदेश में गरबा के आयोजन के लिए हमें खूब तैयारी करनी पड़ती है। दुनिया के पांचों महाद्वीपों के देशों में बसे गुजरातियों की पसंद अलग-अलग होती है, इसलिए हमें उसी के अनुसार गरबा गाना पड़ता है। जैसे वडोदरा में जिस प्रकार के गरबे गाए जाते हैं, वे मुंबई से बिल्कुल अलग होते हैं। इसी तरह, अमेरिकन गुजराती और ब्रिटिश गुजरातियों की पसंद भी अलग होती है। इसका कारण यह है कि ब्रिटेन में गुजराती पिछले सौ-डेढ़ सौ साल से बसे हुए हैं, और इसलिए वे पुराने और पारंपरिक गरबे पसंद करते हैं। वहीं, अमेरिका में बसे गुजराती लगभग 50-60 साल से बसे हुए हैं, इसलिए उन्हें नए गरबे के साथ बॉलीवुड टच वाले गरबे पसंद आते हैं। इसलिए, हमें विभिन्न देशों के कार्यक्रमों को सफल बनाने के लिए उनकी पसंद के अनुसार प्लेलिस्ट तैयार करनी पड़ती है। यह किसी भी कलाकार के लिए एक चुनौतीपूर्ण कार्य है। हालांकि, मैं अपनी बात करूं, तो मुझे खुशी है कि मैं विदेश में बसे गुजराती लोगों का प्यार और आशीर्वाद पाने में सफल रही हूँ।